मोहम्मद शमी की वापसी को लेकर जल्दबाजी में नहीं टीम इंडिया, जानिए कब मैदान पर लौट सकता है भारतीय तेज गेंदबाज
भारतीय टीम प्रबंधन चाहता है कि मोहम्मद शमी पूरी तरह से फिट हो जाएं और ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ टेस्ट सीरीज के लिए तैयार रहें। मोहम्मद शमी ने फरवरी 2024 में टखने की सर्जरी कराई थी।
वेंकट कृष्णा बी। भारतीय टीम प्रबंधन तेज गेंदबाज मोहम्मद शमी की वापसी को लेकर जल्दबाजी के बिल्कुल मूड में नहीं है। टीम इंडिया की प्राथमिकता इस साल के अंत में ऑस्ट्रेलिया दौरे के लिए 33 साल के मोहम्मद शमी को फिट और तरोताजा रखना है। भारत को ऑस्ट्रेलिया में बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी के तहत 5 टेस्ट मैच की सीरीज खेलनी है।
फरवरी 2024 में टखने की सर्जरी कराने के बाद मोहम्मद शमी का पुनर्वास कार्यक्रम ठीक चल रहा है, लेकिन अगले महीने घर पर बांग्लादेश सीरीज के लिए उनकी उपलब्धता की संभावना बहुत कम है, क्योंकि अब तक वह पूरी तरह फिट नहीं हुए हैं। इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक, मोहम्मद शमी की कोशिश 11 अक्टूबर को रणजी ट्रॉफी के पहले मैच में खेलने की होगी।
फरवरी 2024 में टखने की सर्जरी कराने के बाद मोहम्मद शमी का पुनर्वास कार्यक्रम ठीक चल रहा है, लेकिन अगले महीने घर पर बांग्लादेश सीरीज के लिए उनकी उपलब्धता की संभावना बहुत कम है, क्योंकि अब तक वह पूरी तरह फिट नहीं हुए हैं। इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक, मोहम्मद शमी की कोशिश 11 अक्टूबर को रणजी ट्रॉफी के पहले मैच में खेलने की होगी।
शमी ने 2023 में अहमदाबाद में ICC एकदिवसीय विश्व कप फाइनल के बाद से प्रतिस्पर्धी क्रिकेट मैच नहीं खेला है। शमी के पिछले साल टखने में चोट लगी थी। बेंगलुरु में राष्ट्रीय क्रिकेट अकादमी (एनसीए) में कुछ महीनों के पुनर्वास से गुजरने के बाद, शमी ने फरवरी के अंत में सर्जरी का विकल्प चुना। अगले हफ्ते उस सर्जरी को छह महीने पूरे हो जाएंगे। मोहम्मद शमी अभी ऑस्ट्रेलिया दौरे को ध्यान में रखते हुए मजबूती से काम कर रहे हैं।
शमी ने पिछले महीने के अंत में एनसीए में गेंदबाजी करना शुरू किया था। इस कारण उनके दलीप ट्रॉफी में वापसी की उम्मीदें बढ़ गई थीं, लेकिन तेज गेंदबाज को चार में से किसी भी टीम में शामिल नहीं किया गया, क्योंकि वह अब तक पूरी तरह से फिट नहीं हुए हैं। शमी के लिए भी जसप्रीत बुमराह के मामले जैसा फॉर्मूला बनाया गया है।
यह सही है कि मोहम्मद शमी की चोट जसप्रीत बुमराह की तरह करियर के लिए खतरे वाली नहीं है, लेकिन उन्होंने लंबे समय से कोई मैच नहीं खेला है, इसका मतलब है कि उनका वर्कलोड धीरे-धीरे बढ़ाना होगा। पिछले साल बुमराह की वापसी के लिए BCCI ने एक क्लीयर रोडमैप बनाया था।
सूत्रों के हवाले से रिपोर्ट में कहा गया है कि एक बार जब शमी नियमित रूप से नेट पर बल्लेबाजों को गेंदबाजी करना शुरू कर देंगे, तो अगला कदम एनसीए में अभ्यास मैचों में हिस्सा लेना होगा। सूत्रों ने बताया, ‘चूंकि वह काफी समय से नहीं खेले हैं, इसलिए उन्हें सिस्टम में आसानी से शामिल किया जाना चाहिए। बुमराह के साथ, हमने आयरलैंड में टी20 मैच खेले, जिससे हमें धीरे-धीरे उनका वर्कलोड बढ़ाने का मौका मिला।’
सूत्रों ने बताया, ‘…लेकिन शमी के मामले में टेस्ट क्रिकेट में उन्हें लंबे स्पैल में गेंदबाजी करनी होगी। यह एक चरण-दर-चरण प्रक्रिया होगी और अंतिम लक्ष्य ऑस्ट्रेलिया दौरा है।’ बांग्लादेश के खिलाफ 19 सितंबर से शुरू होने वाले दो टेस्ट मैच से शुरू होकर, भारत नवंबर के मध्य में ऑस्ट्रेलिया रवाना होने से पहले न्यूजीलैंड के खिलाफ तीन और टेस्ट मैचों की मेजबानी करेगा।